बीजापुर में बड़ी मुठभेड़: 27 लाख के इनामी 6 कुख्यात माओवादी ढेर — भारी मात्रा में हथियार बरामद, बस्तर में नक्सलियों के खिलाफ अभियान तेज़
चंद्रहास वैष्णव
बीजापुर।बस्तर संभाग के बीजापुर जिले में सुरक्षा बलों को एक बड़ी सफलता मिली है। नेशनल पार्क क्षेत्र के जंगलों में हुई मुठभेड़ में 27 लाख रुपए के इनामी 6 कुख्यात माओवादी मारे गए हैं। मुठभेड़ स्थल से सुरक्षा बलों ने ऑटोमैटिक हथियार, विस्फोटक सामग्री और बड़ी मात्रा में माओवादी साहित्य बरामद किया है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार, सुरक्षा एजेंसियों को सूचना मिली थी कि डीकेएसजेडसीएम पापाराव, मद्देड़ एरिया कमेटी के इंचार्ज डीवीसीएम कन्ना उर्फ बुचन्ना, डीवीसीएम उर्मिला, डीवीसीएम मोहन कड़ती सहित पश्चिम बस्तर डिवीजन के 50–60 नक्सली जंगलों में सक्रिय हैं। इसके बाद डीआरजी बीजापुर, डीआरजी दंतेवाड़ा और एसटीएफ की संयुक्त टीमों ने सर्च ऑपरेशन शुरू किया।
ऑपरेशन के दौरान दोनों ओर से रुक-रुक कर भारी फायरिंग हुई, जिसके बाद सुरक्षा बलों ने मुठभेड़ स्थल की तलाशी ली। सर्चिंग के दौरान 6 माओवादियों के शव बरामद हुए, जिनके पास से इंसास राइफल, 9mm कार्बाइन, .303 रायफल, विस्फोटक सामग्री और अन्य आपत्तिजनक वस्तुएं मिलीं।
पुलिस सूत्रों के अनुसार, वर्ष 2025 में अब तक बस्तर संभाग में 144 माओवादी मारे जा चुके हैं, जबकि 499 नक्सलियों की गिरफ्तारी और 560 माओवादियों के आत्मसमर्पण की घटनाएं दर्ज की जा चुकी हैं। यह आंकड़ा बताता है कि नक्सल विरोधी अभियान अपने निर्णायक मोड़ पर पहुंच चुका है।
बस्तर रेंज के आईजी सुंदरराज पी. ने बताया कि पुलिस, सुरक्षा बल और अन्य हितधारक आपसी समन्वय से क्षेत्र के शेष नक्सली ठिकानों को समाप्त करने की दिशा में कार्य कर रहे हैं। उन्होंने कहा, “यह अभियान सरकार, सुरक्षा बलों और बस्तर की जनता के सामूहिक संकल्प को दर्शाता है, जिसके तहत वामपंथी उग्रवाद जैसी दशकों पुरानी समस्या को खत्म करने का लक्ष्य तय किया गया है।”
आईजी ने स्पष्ट कहा, “हमारा लक्ष्य एक शांतिपूर्ण और नक्सल-मुक्त बस्तर है। माओवादी संगठन अब पूरी तरह घिर चुका है, और उसके पास हिंसा का रास्ता छोड़कर मुख्यधारा में लौटने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा है।”
इस बड़ी मुठभेड़ को बस्तर में नक्सल उन्मूलन की दिशा में एक निर्णायक कदम माना जा रहा है।